ओडिशा-छत्तीसगढ़ की सीमा पर गरियाबंद जिले में जवानों ने करीब 60 नक्सलियों को घेर रखा है। 20 जनवरी से चल रहे एनकाउंटर में 16 नक्सलियों के मारे जाने की पुष्टि हो चुकी है। यह संख्या लगातार बढ़ रही है। कुछ रिपोर्टों में 20 नक्सलियों के मारे जाने की भी बात कही गई है। मारे गए नक्सलियों में ₹1 करोड़ का इनामी कमांडर जयराम उर्फ़ चलापति भी है। इसके अलावा कुछ और बड़े कमांडर भी इस ऑपरेशन में मारे गए हैं। नक्सलियों के पास से कई हथियार भी बरामद हुए हैं। एनकाउंटर में 1 जवान के घायल होने की भी सूचना है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, यह एनकाउंटर गरियाबंद जिले के कुल्हाड़ीघाट इलाके में सोमवार (20 जनवरी, 2025) को चालू हुआ था। इस एनकाउंटर में पहले दिन 2 महिला नक्सियों के शव बरामद किए गए थे। जिस इलाके में यह एनकाउंटर हुआ है, वह ओडिशा से सीमा साझा करता है, इसलिए ओडिशा के नुआपाड़ा इलाके में सुरक्षाबल सर्च अभियान चला रहे हैं।
#UPDATE |Gariaband encounter: So far 16 Naxals' bodies have been recovered. AK 47, SLR, INSAS and other automatic weapons have been recovered. Search operation is ongoing: IG Raipur Zone Amresh Mishra https://t.co/eR1pv9KKX5
— ANI (@ANI) January 21, 2025
₹1 करोड़ का इनामी भी मारा गया
मंगलवार (21 जनवरी, 2025) को खबर लिखे 16 शव बरामद हो चुके थे। सुरक्षाबल लगातार इस इलाके में सर्च अभियान चला रहे हैं। मारा गया कमांडर जयराम उर्फ़ चलापति भी शामिल है। वह नक्सलियों की सेंट्रल कमेटी का सदस्य था। उसके साथ ही ओडिशा में नक्सली आतंक के प्रुमख मनोज को भी सुरक्षाबलों ने मार गिराया है। बाकी नक्सलियों की सुरक्षाबल पहचान कर रहे हैं।
इन नक्सलियों के पास से सुरक्षाबलों को बड़ी मात्रा में हथियार और गोला बारूद बरामद हुए हैं। इस मुठभेड़ में घायल एक जवान को हेलिकॉप्टर से एयरलिफ्ट कर लिया गया है। उसकी हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है। घायल जवान का राजधानी रायपुर में इलाज चल रहा है।
नक्सल विरोधी इस ऑपरेशन में 10 टीमें शामिल हैं। इनमें छत्तीसगढ़ और ओडिशा की पुलिस समेत DRG और CRPF की कोबरा बटालियन हिस्सा ले रही हैं। नक्सलियों को ठिकाने लगाने के लिए ड्रोन का सहारा लिया जा रहा है। सूचना है कि घेरे में फंसने वाला नक्सलियों का यह दल 60 लोगों का था, अभी इसके और लोग भी मारे जा सकते हैं।
2024 में 221 मारे, जनवरी 2025 में ही 42 का सफाया
सुरक्षाबलों के सामने अब नक्सलियों के पैर उखड़ रहे हैं। छत्तीसगढ़ में विष्णु देव साय के मुख्यमंत्री बनने के बाद से लगातार नक्सली बैकफुट पर है। 2024 में छत्तीसगढ़ में सुरक्षाबलों ने 221 नक्सली मार गिराए थे। एक एनकाउंटर में 40 से अधिक नक्सली मारे गए थे।
नक्सलियों के इस सफाए में जनवरी में और भी तेजी आ गई है। जनवरी, 2025 में इस गरियाबंद एनकाउंटर को मिला कर छत्तीसगढ़ में 42 नक्सली खत्म किए जा चुके हैं। यह संख्या यह महीना खत्म होते-होते 50 पार हो सकती है। मात्र नक्सलियों को मार गिराने में ही नहीं बल्कि उनका नेटवर्क तोड़ने में भी कामयाबी मिली है।
छत्तीसगढ़ में 2024 में 925 नक्सली गिरफ्तार भी किए गए थे। इसके अलावा 738 ने नक्सलवाद की राह छोड़ कर आत्मसमर्पण की राह चुनी थी। इस तरह 2024 में ही इस नेटवर्क से 1800 लोग कम कर दिए गए थे। वर्तमान में छत्तीसगढ़ में 1000 के आसपास नक्सली होने के दावे हैं।
सिर्फ छत्तीसगढ़ ही नहीं बल्कि पूरे देश में नक्सली नेटवर्क तबाह हो रहा है। 2024 में देश भर में 287 नक्सली (छत्तीसगढ़ सहित) खत्म किए गए थे। गृह मंत्री अमित शाह ने मार्च, 2026 तक नक्सलियों को खत्म करने का लक्ष्य सुरक्षाबलों को दिया है।
CM, गृह मंत्री ने की तारीफ़
गरियाबंद में हुए एनकाउंटर में सुरक्षाबलों की सफलता पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और गृह मंत्री अमित शाह ने उनकी तारीफ़ की है। CM विष्णु देव साय ने ट्विटर पर जवानों की बहादुरी को सलाम किया है। गृह मंत्री अमित शाह ने इसे नक्सलवाद पर करारी चोट बताया है।
CM साय ने एक्स (पहले ट्विटर) पर लिखा, “गरियाबंद जिले के मैनपुर थाना अंतर्गत कुल्हाड़ीघाट क्षेत्र में सुरक्षाबलों की नक्सलियों के साथ रविवार रात से अब तक जारी मुठभेड़ में 10 से अधिक नक्सलियों के मारे जाने की खबर है। मार्च 2026 तक देश-प्रदेश में नक्सलवाद के खात्मे के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी एवं माननीय केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह जी के संकल्प को मजबूती प्रदान करते हुए सुरक्षाबल के जवान निरंतर सफलता हासिल कर लक्ष्य की ओर तेजी से आगे बढ़ रहे हैं। जवानों को मिली यह कामयाबी सराहनीय है।”
वहीं गृह मंत्री अमित शाह ने लिखा, “नक्सलवाद को एक और करारा झटका। नक्सल मुक्त भारत बनाने की दिशा में हमारे सुरक्षा बलों को बड़ी सफलता मिली है। ओडिशा-छत्तीसगढ़ सीमा पर CRPF, SOG ओडिशा और छत्तीसगढ़ पुलिस ने संयुक्त ऑपरेशन में 14 नक्सलियों को ढेर कर दिया। नक्सल मुक्त भारत के हमारे संकल्प और हमारे सुरक्षा बलों के संयुक्त प्रयासों से आज नक्सलवाद अपनी अंतिम सांसें ले रहा है।”