Saturday, May 4, 2024
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कॉन्ग्रेस नेता का बेहूदा रवैया: मेट्रो में सुरक्षकर्मियों को धमकी, महिला पत्रकार से बदसलूकी – वायरल हुआ Video

सुरक्षाकर्मी निवेदन कर रहे थे कि वे साइलेंट जोन में न चिल्लाएँ। लेकिन वो चिल्लाते रहा - "तुम जानते हो मैं पार्षद हूँ..." जब महिला पत्रकार ने हस्तक्षेप किया तो उसने फिर कहा, "तू जा यहाँ से... और उनके हाथ पर मारकर बसलूकी की।

महाराष्ट्र में जनता की इच्छा के विरुद्ध जाकर शिवसेना द्वारा एनसीपी और कॉन्ग्रेस के साथ सरकार बनाने का असर अब प्रदेश में दिखने लगा है। बिन बहुमत मिले सरकार का हिस्सा हो जाने से दोनों पार्टी के नेता और उनके रिश्तेदार अपना आपा खो चुके हैं और जनता को अपनी असलियत दिखाने से नहीं चूक रहे। कल सोशल मीडिया पर एनसीपी नेता के भाई की एक वीडियो वायरल हुई थी, जिसमें वे एक मजदूर को मार रहा था। आज कॉन्ग्रेस नेता की पोलपट्टी खुली है। जिसमें वे अपने पद की धौंस दो सुरक्षाकर्मियों को दिखा रहे हैं। मेट्रो स्टेशन पर हुए इस वाकये को खुद इंडियन एक्सप्रेस की पत्रकार तबस्सुम ने अपने ट्विटर पर साझा किया है।

तबस्सुम ने लिखा कि कल मेट्रो स्टेशन में घुसते ही उन्होंने किसी को कहते सुना, “तुम जानते हो मैं पार्षद हूँ”। जब उन्होंने पास जाकर देखा तो वो कॉन्ग्रेस नेता विक्रांत चव्हाण थे। जो मेट्रो स्टाफ और सुरक्षाकर्मियों पर तेज आवाज में चिल्ला रहे थे और सुरक्षाकर्मी उन्हें शांत करने की कोशिश में जुटे थे।

बतौर पत्रकार, किसी शख्स को इस तरह बर्ताव करता देख तबस्सुम पूरा मामला जानने के लिए बेचैन हो गईं। उन्होंने साजिद नाम के सुरक्षाकर्मी से पूछा कि आखिर हुआ क्या है? साजिद ने बताया,”ये पार्षद हैं, यही कारण है कि ये चिल्ला रहे हैं और किसी की सुन ही नहीं रहे।”

तबस्सुम के मुताबिक उन्होंने खुद सुना कि सुरक्षाकर्मी उनसे निवेदन कर रहे थे कि वे साइलेंट जोन में न चिल्लाएँ। लेकिन शायद विक्रांत चव्हाण पर पद का इतना घमंड था कि वो किसी की सुनने को राजी नहीं हुए। और चुप होने की बजाए ज्यादा तेज चिल्लाने लगे।

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कॉन्ग्रेस नेता का ऐसा रवैया देख, तबस्सुम ने हस्तेक्षेप किया। उन्होंने बड़े आराम से चव्हाण को शांत हो जाने को कहा, लेकिन उनकी आवाज और तेज हो गई। वो पत्रकार को कहने लगे, “तू जा यहाँ से, मैं विक्रांत चव्हाण हूँ। पार्षद।” बस फिर क्या, तबस्सुम मे पूरे मामले की वीडियो बनानी शुरू कर दी। जिसे देखकर चव्हाण नाराज हो गए और तबस्सुम के हाथ पर मारकर वीडियो रोकने की कोशिश की।

तबस्सुम के अनुसार, इस घटना के तुरंत बाद वहाँ अधिक सिक्योरिटी आ गई। जिन्हें देखकर वे स्टेशन से बाहर चले गए। तबस्सुम लिखती हैं कि एनसीपी नेता के भाई की वीडियो वायरल होने के बाद अब ये कॉन्ग्रेस नेता हैं, जो अपनी ताकत का बेजा इस्तेमाल कर रहे हैं।

गौरतलब है कि अपने ट्वीट में तबस्सुम ने कॉन्ग्रेस नेता के बैकग्राउंड के बारे में भी पूरी पोल पट्टी खोली है। उन्होंने बताया कि चव्हाण के ऊपर इससे पहले कई मामले चल चुके हैं। साल 2015 में ठाणे के एक बिल्डर सूरज परमार द्वारा आत्महत्या करने के बाद चव्हाण को पूरे मामले में आरोपित करार दिया गया था। चव्हाण पर आरोप था कि उन्होंने परमार को मानसिक रूप से पेमेंट के लिए प्रताड़ित किया। जिसके कारण कॉन्ग्रेस नेता ने कुछ समय जेल में भी बिताया।

इसके अलावा चव्हाण और तीन अन्य पार्षदों, नेताओं और बिल्डरों का नेक्सस बनाने के भी आरोपित हैं। साथ ही अघोषित संपत्ति रखने के कारण इनके घर पर रेड भी पड़ चुकी है। लेकिन, इतने सबके बावजूद हैरानी की बात है कि कॉन्ग्रेस ने इस साल भी चव्हाण को मजिवाडा क्षेत्र से टिकट दिया। शायद सिर्फ़ इसलिए ताकि वो आम जनता पर चिल्ला सकें और उन पर अपने पद का रौब झाड़ सकें।

बता दें कि इससे पहले उद्धव ठाकरे कैबिनेट में अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री नवाब मलिक के भाई कप्तान मलिक ने मजूदरों की पिटाई की थी। जिसकी वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थी, जिसके बाद लोगों ने मंत्री के भाई की इस करतूत की आलोचना की थी। लेकिन नवाब मलिक का इसपर कोई बयान नहीं आया।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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