बेंगलुरु दंगे के सिलसिले में अब तक 61 लोगों के खिलाफ गैर कानूनी गतिविधि रोकथाम कानून (यूएपीए) के तहत मामला दर्ज किया गया है। सिटी पुलिस कमिश्नर के हवाले से मीडिया रिपोर्टों में यह जानकारी दी गई है।
पंत ने बताया कि मामले की जॉंच जारी है और साक्ष्यों के आधार पर यह आगे बढ़ रही है। इसी आधार पर आरोपितों की गिरफ्तारी की जा रही है। जो आरोपित पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं, उन्हें भी जल्द पकड़ लिया जाएगा।
कर्नाटक की राजधानी में 11 अगस्त की रात हिंसा और आगजनी हुई थी। राज्य के गृहमंत्री बसवराज बोम्मई ने पिछले दिनों दंगों के पीछे कट्टरपंथियों का हाथ होने की बात बताई थी। उन्होंने इसे बड़ी साजिश का हिस्सा बताते हुए जॉंच के आदेश दिए थे।
बोम्मई ने कहा था, “कॉन्ग्रेस विधायक और उनके फॉलोवर्स के बीच इंटरनल डिफरेंस हैं, उनके और सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया (एसडीपीआई) के बीच मतभेद हैं, ये सभी चीजें सामने आ रही हैं। इसके अलावा, यह एक बड़ी साजिश का हिस्सा था और बड़े पैमाने पर एसडीपीआई की भूमिका सामने आ रही है।”
गौरतलब है कि दंगों में 3 लोगों की मौत हो गई थी और कई जख्मी हो गए थे। दंगाइयों ने दर्जनों गाड़ियों को आग लगा दी थी और करोड़ों की संपत्ति को नुकसान पहुँचाया था।
कॉन्ग्रेस विधायक श्रीनिवास मूर्ति के घर और थाने में तोड़फोड़ भी की गई थी। मूर्ति के भतीजे नवीन पर पैगम्बर मुहम्मद को लेकर विवादित पोस्ट करने का आरोप लगाते हुए हिंसा को अंजाम दिया गया था। हिंसा के सिलसिले में अब तक करीब 150 लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं। राज्य सरकार ने कहा था कि हिंसा के दौरान हुए नुकसान की भरपाई दंगाइयों से ही की जाएगी।