पीड़िता चर्च के ऑफिस में बैठकर फोन पर वीडियो देख रही था, तभी वहाँ पर पादरी आया और उसकी शर्ट के ऊपर हाथ रखा और उसके साथ बदतमीजी करने लगा। उसने पादरी को रोकने की कोशिश की, लेकिन वो फिर भी घिनौनी हरकत करता रहा।
पुलिस ने मुख्तयार को जमीन कब्जाने के मामले में गिरफ्तार किया था। लेकिन जब उसके फोन की जाँच हुई तो उसमें नाबालिग के साथ किए अत्याचार का खुलासा हुआ। पुलिस ने वीडियो देखने के बाद आरोपित मुख्यतार पर पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है।
जबरन सबरीमाला मंदिर में घुसने की असफल कोशिश करने वाली बिन्दु थनकम कल्याणी ने आरोप लगाया कि उसके पति ने अपनी ही बेटी को अगवा करके उसका धर्म परिवर्तन करा डाला। इसके बाद बेटी का स्कूल भी बदलवा कर मुस्लिम स्कूल में भर्ती करवा दिया।
परिजनों ने आरोप लगाया कि सेवर थाना की पुलिस महिला को उठा कर ले गई थी, जहाँ उसे प्रताड़ित किया गया और गालियाँ दी गईं। महिला को पुलिस द्वारा आए दिन धमकियाँ दी जा रही थीं। इन सबसे तंग आकर दलित महिला ने यह क़दम उठाया।
नौशाद ने पुलिस को बताया कि उसने अपनी पत्नी के फोन में एक रिकॉर्डिंग ऐप इनस्टॉल कर रखा था, जिससे उसे पता चलता रहे कि वह किससे क्या बातें करती है? इसी ऐप के माध्यम से उसे पता चला कि उसकी पत्नी शकील से मिलती-जुलती है।
मस्जिद के केयरटेकर शौकत अली की शरीफ मोहम्मद से दुश्मनी थी और बदले की भावना से उसे फँसाने के लिए उसने ऐसा किया। वह इस बात से नाराज था कि मोहम्मद उससे ज्यादा रुपए कमा रहा है।
हाल ही में ऐसे कई मामले सामने आए हैं जिसमें हिन्दू प्रतीक चिह्नों और देवी-देवताओं का अपमान किया गया। कुछ दिनों पहले इरशाद नामक व्यक्ति द्वारा शिवलिंग पर पेशाब करने की बात सामने आई थी।
जहांगीर अपनी रिश्तेदारी में एक नाबालिग लड़की से मोबाइल पर बात करता था। उसका दोस्त सबलू उर्फ़ मसलाहउद्दीन भी उसी लड़की से मोबाइल पर बात करने लगा। इस बात का पता जब जहांगीर को लगा तो उसने सबलू को मारा। इसी बीच आतिफ़ वहाँ आ गया तो उसने...
पुलिस ने बताया कि मलयालम दैनिक ‘सिराज’ के ब्यूरो प्रमुख के एम. बशीर (35) सड़क किनारे मोटरसाइकिल खड़ी कर उस पर बैठे हुए थे तभी तेज रफ्तार कार ने उनकी मोटरसाइकिल को टक्कर मार दी। बशीर की मौके पर ही मौत हो गई।
इरशाद पहली बार काँवड़ लेकर नहीं गया था। स्थानीय लोगों का कहना है कि वो काफी लंबे समय से काँवड़ यात्रा में भाग ले रहा है। मगर इस बार इरशाद का काँवड़ यात्रा में शामिल होना और गंगाजल घर लाना उसके अपने ही समुदाय के कुछ लोगों को रास नहीं आया।