उत्तर प्रदेश में अलीगढ़ के टप्पल के नूरपुर गाँव में 150 हिंदू परिवारों के पलायन की खबर के बाद अब AIMIM ओवैसी की यूथ ब्रिगेड के प्रदेश अध्यक्ष सैयद नाजिम अली ने धमकी देते हुए कहा है कि नूरपुर में नमाज तो होगी, लेकिन हिंदुओं को वहाँ बारात नहीं निकालने दिया जाएगा।
देश संविधान से चलेगा दबंगई किसी की भी बर्दास्त नही की जाएगी https://t.co/DOLXaLcJgI
— Syed Nazim Ali (@SyedNazimAli19) June 2, 2021
नाजिम अली ने नूरपुर के हालात के लिए प्रशासन को ही दोषी ठहराया है। एआईएमआईएम नेता ने बीजेपी पर नफरत फैलाने का आरोप लगाते हुए कहा कि ये नफरत की आग है और इसके लिए अलीगढ़ के सांसद और मेयर जिम्मेदार हैं।
अगर ये वाकई में खुद के हिंदू होने का दावा करते हैं तो ये उन्नाव जाएँ, जहाँ शवों को जलाने के लिए लकड़ियाँ नहीं मिलने पर लाशों को गंगा में फेंका जा रहा है।
इसके साथ ही एमआईएमआईएम नेता ने कहा कि भाजपा की शकुंतला देवी कहती हैं, “नूरपुर से बारात नहीं निकलने दिया तो हम ईंट से ईंट बजा देंगे। मैं उन्हें ये कहना चाहता हूँ कि नूरपुर में नमाज तो हो के रहेगी, कोई हमें रोक नहीं सकता है। हाँ वहाँ से बिना हमारी इजाजत के बारात नहीं निकलेगी। आप ईंट, पत्थर, गोली या चाहे जो ले आओ।”
नाजिम अली ने आगे कहा, “मैं ये कहता हूँ कि देश संविधान से चलेगा, किसी के अल्फाजों से नहीं। नूरपुर से बारात निकालने के लिए हमारी परमीशन इन्हें लेनी ही होगी। अन्यथा शकुंतला नहीं भाजपा के जितने भी नेता हैं सभी आ जाएँ और वहाँ बारात निकाल कर दिखाएँ।”
नूरपुर से मुसलमानों के अत्याचार से हिंदू परिवार पलायन करने के लिए मजबूर हैं। बावजूद इसके एआईएमआईएम नेता मुस्लिमों पर अत्याचार का दावा कर रहे हैं।
क्या है मामला
टप्पल थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाला नूरपुर गाँव मुस्लिम बहुल है। एक रिपोर्ट के मुताबिक गाँव में लगभग 800 मुस्लिम परिवार रहते हैं। हिन्दुओं के 125 परिवार हैं, जिनमें अधिकतर आबादी जाटव समाज (अनुसूचित जाति) की है।
26 मई 2021 को एक दलित घर में दो बेटियों की एक साथ बारात जा रही थी। आरोप है कि बारात लाते वक्त बीच में मस्जिद पड़ी। वहाँ मुस्लिम समुदाय से जुड़े कुछ लोगों ने बारातियों के साथ मारपीट शुरू कर दी। बारातियों से कहा कि अगर बारात ले जाना है तो मस्जिद से पैदल ही जाना होगा। इस पर बारात वापस लौट गई। घटना के बाद से नूरपुर में रहने वाले 150 हिंदू परिवारों ने अपने घर बेचकर पलायन का ऐलान कर दिया। इन लोगों ने अपने घर के बाहर ‘मकान बिकाऊ है’ का बोर्ड भी लगा दिया था।