Saturday, May 4, 2024
Homeराजनीतिहर रोज केजरीवाल सरकार का ही लफड़ा... परेशान सुप्रीम कोर्ट ने वकील अभिषेक मनु...

हर रोज केजरीवाल सरकार का ही लफड़ा… परेशान सुप्रीम कोर्ट ने वकील अभिषेक मनु सिंघवी से कहा- ‘…अब इसे छोड़ दें’

अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार ने इस नियम के कुछ प्रावधानों को चुनौती देने वाली याचिका पर तत्काल सुनवाई के लिए सुप्रीम कोर्ट से अपील की थी। ये कानून और प्रावधान दिल्ली के उपराज्यपाल को कथित तौर पर अधिक शक्ति देते हैं।

सुप्रीम कोर्ट दिल्ली सरकार और केंद्र सरकार के बीच आए दिन होने वाले झगड़ों से परेशान हो गया है। शीर्ष न्यायालय की एक पीठ ने बुधवार (6 अक्टूबर 2021) को कहा, ”हर दिन हमें दिल्ली सरकार के विवाद को ही सुनना पड़ता है।” अदालत ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र सरकार (जीएनसीटी) दिल्ली (संशोधन) अधिनियम, 2021 और कार्य संचालन नियम से जुड़े मामले पर सुनवाई करते हुए दिल्ली सरकार के वकील अभिषेक मनु सिंघवी को इसे छोड़ने का निर्देश दिया।

रिपोर्ट्स के मुताबिक, अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार ने इस नियम के कुछ प्रावधानों को चुनौती देने वाली याचिका पर तत्काल सुनवाई के लिए सुप्रीम कोर्ट से अपील की थी। ये कानून और प्रावधान दिल्ली के उपराज्यपाल को कथित तौर पर अधिक शक्ति देते हैं। इससे पहले दिल्ली सरकार ने इसी याचिका की तत्काल सुनवाई के लिए 13 सितंबर 2021 को उल्लेख किया था। उस दौरान सर्वोच्च अदालत इसे सूचीबद्ध करने को सहमत हो गई थी।

दिल्ली सरकार और उपराज्यपाल के बीच अफसरों की नियुक्ति, स्थानांतरण और तैनाती के नियंत्रण को लेकर विवाद पर सुप्रीम कोर्ट की तीन जजों की बेंच दशहरा अवकाश के बाद सुनवाई करेगी। दिल्ली सरकार ने मंगलवार (5 अक्टूबर 2021) को मुख्य न्यायाधीश एनवी रमन के समक्ष इस मुद्दे को उठाया था। दिल्ली सरकार के वकील ने कहा था कि इस पर जल्द सुनवाई की जाए, क्योंकि इससे दिल्ली सरकार का कामकाज प्रभावित हो रहा है। मालूम हो कि फरवरी 2019 में सुप्रीम कोर्ट की दो जजों की बेंच ने इस मामले को तीन जजों की बेंच के समक्ष भेज दिया था।

दरअसल यह पहली बार नहीं है। इससे पहले भी सुप्रीम कोर्ट केजरीवाल सरकार और दिल्ली के उपराज्यपाल के बीच होने वाले विवाद सुप्रीम कोर्ट में पहुँचे हैं। साल 2018 में दिल्ली में केजरीवाल सरकार और एलजी के बीच चल रही अधिकारों की जंग मामले में सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया था। कोर्ट ने दिल्ली सरकार और एलजी को आपसी तालमेल से काम करने की सलाह भी दी थी। कोर्ट ने कहा था कि दिल्ली में पुलिस, लॉ ऐंड ऑर्डर और लैंड के मामले में सभी अधिकार एलजी के पास ही रहेंगे। वहीं, सभी मामलों में चुनी हुई सरकार कानून बना सकती है।

Special coverage by OpIndia on Ram Mandir in Ayodhya

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

खालिस्तानी गुटों की आपसी लड़ाई का परिणाम है हरदीप निज्जर हत्याकांड! कनाडा पुलिस ने 3 संदिग्धों को किया गिरफ्तार, गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई से लिंक...

खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में कनाडा की पुलिस ने लॉरेस बिश्नोई से जुड़े तीन संदिग्धों को गिरफ्तार किया है।

19 साल बाद संजय निरुपम ने की घर वापसी, शिवसेना में CM एकनाथ शिंदे ने किया स्वागत: ‘खिचड़ी चोर’ के विरोध में छोड़ दी...

संजय निरुपम फिर से शिवसेना में शामिल हो गए हैं। करीब 19 साल बाद घर वापसी करते हुए उन्होंने शिवसेना का दामन थाम लिया।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -