Sunday, November 3, 2024
Homeविविध विषयअन्यभारतीय अर्थव्यवस्था लौटेगी तरक्की की राह पर, Fitch ने कहा- GDP ग्रोथ 9.5 फीसदी...

भारतीय अर्थव्यवस्था लौटेगी तरक्की की राह पर, Fitch ने कहा- GDP ग्रोथ 9.5 फीसदी रहने की उम्मीद

रिपोर्ट में बताया गया है कि वैश्विक संकट के बाद भारतीय अर्थव्यवस्था "BBB" श्रेणी के अन्य देशों के मुकाबले ज्यादा बढ़ोतरी दर हासिल करेगी। इसमें कहा गया है कि अगर भारत के वित्तीय क्षेत्र की स्थिति और ज्यादा नीचे नहीं जाती है, तो 2021-22 में भारतीय अर्थव्यवस्था 9.5 फीसदी की दर से बढ़ेगी।

अर्थव्यवस्था को लेकर आ रही लगातार बुरी खबरों के बीच एक बेहद अच्छी खबर सामने आई है। अमेरिकी क्रेडिट रेटिंग एजेंसी फिच रेटिंग्स (Fitch Ratings) ने कहा है कि अगले वित्त वर्ष के दौरान भारतीय अर्थव्यवस्था के जबरदस्त उछाल मारने की उम्मीद है। दुनिया की तीन बड़ी क्रेडिट रेटिंग एजेंसियों में शुमार फिच रेटिंग्स ने अपनी हालिया रिपोर्ट में कहा है कि भारतीय अर्थव्यवस्था अगले वित्त वर्ष यानी कि 2021-22 में 9.5 फीसदी की दर से बढ़ने की उम्मीद है।

इस साल कोरोना का कहर

फिच रेंटिग्स ने ये बातें बुधवार (जून 10, 2020) को जारी एक रिपोर्ट में कही। फिच रेटिंग्स ने अनुमान जताया है कि मौजूदा वित्त वर्ष यानी 2020-21 में भारतीय अर्थव्यवस्था में 5 फीसदी की कमी दर्ज की जा सकती है। अर्थव्यवस्था में इस बड़ी गिरावट की वजह जाहिर तौर पर कोरोना वायरस का संक्रमण ही है। फिच रेटिंग्स ने बुधवार को APAC सॉवरेन क्रेडिट ओवरव्यू जारी किया है, जिसमें एशिया-पैसिफिक क्षेत्र की अर्थव्यवस्थाओं के बारे में अनुमान दिया गया है।

जीडीपी ग्रोथ वापस पटरी पर लौट जाएगी

रिपोर्ट में बताया गया है कि वैश्विक संकट के बाद भारतीय अर्थव्यवस्था “BBB” श्रेणी के अन्य देशों के मुकाबले ज्यादा बढ़ोतरी दर हासिल करेगी। इसमें कहा गया है कि अगर भारत के वित्तीय क्षेत्र की स्थिति और ज्यादा नीचे नहीं जाती है, तो 2021-22 में भारतीय अर्थव्यवस्था 9.5 फीसदी की दर से बढ़ेगी।

इसमें कहा गया है, “कोविड-19 महामारी ने देश के वृद्धि परिदृश्य को कमजोर किया है। इसकी अन्य प्रमुख वजह सरकार पर भारी कर्ज के चलते कई चुनौतियाँ भी पैदा होना है।”

दुनिया का सबसे बड़ा लॉकडाउन

25 मार्च से भारत में लगे लोग डाउन का जिक्र करते हुए फिच रेटिंग्स ने कहा है कि भारत में दुनिया का सबसे बड़ा लॉकडाउन लोड आया था, जिसके चलते तकरीबन सभी आर्थिक गतिविधियाँ रुक गई थी। इसके बाद लॉकडाउन को लगातार बढ़ाया गया, जो कि 4 मई से कुछ शर्तों के साथ खुलना शुरू हुआ। लेकिन देश में फिलहाल कोरोना वायरस संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ रही है।

सरकार और RBI के उपाय

फिच ने अपनी रिपोर्ट में कोरोना संकट से निपटने के लिए केंद्र सरकार और आरबीआई की तरफ से किए गए उपायों का भी जिक्र किया है। आरबीआई ने नीतिगत दरों में कटौती के जरिए मौद्रिक नीति को आसान बना दिया। इसके अलावा लंबी अवधि के रेपो ऑपरेशन के माध्यम से लिक्विडिटी बढ़ाने का इंतजाम किया।

वहीं केंद्र सरकार ने जीडीपी के 10 फीसदी के बराबर राहत पैकेज (20 लाख करोड़ रुपए) का ऐलान किया। 2019-20 में सरकारी ऋण पहले से ही जीडीपी के 70 प्रतिशत पर था, जो ‘बीबीबी’ रेटिंग वाले देशों के औसतन 42 प्रतिशत से काफी अधिक है। मगर अब भारत के पब्लिक डेब्ट / जीडीपी का अनुपात 2020-21 में जीडीपी के 84 प्रतिशत तक बढ़ने का अनुमान है।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

संथाल बहुल गाँव में आज एक भी ST परिवार नहीं, सरना गायब… मस्जिद-मदरसों की बाढ़: झारखंड चुनाव का घुसपैठ बना मुद्दा, जमीन पर असर...

राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप और अदालत के तीखे सवालों से बाहर निकल झारखंड में घुसपैठ का मुद्दा, अब विधानसभा चुनाव के केंद्र में है। क्या होगा इसका असर?

‘मुस्लिमों के अत्याचार से प्रताड़ित होकर मैं अपनी सारी संपत्ति बेचकर जा रहा हूँ’: कुशीनगर के हिंदू परिवार को लगाना पड़ा पलायन का पोस्टर,...

सच्चिदानंद पांडेय ने बताया कि पड़ोसी मुस्लिम उनके घर के आगे कूड़ा-करकट डालते हैं और रोकने पर झगड़े पर उतारू हो जाते हैं।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -