Thursday, April 25, 2024
HomeराजनीतिNRC लागू करने के पक्ष में मणिपुर, केंद्र से करेंगे संपर्क: CM बीरेन सिंह

NRC लागू करने के पक्ष में मणिपुर, केंद्र से करेंगे संपर्क: CM बीरेन सिंह

"हमें और उत्तर पूर्व के कई राज्यों को NRC की आवश्यकता है। मणिपुर सरकार ने पहले ही कैबिनेट में NRC के लिए फैसला कर लिया है।"

मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने सोमवार को कहा कि राज्य सरकार NRC के कार्यान्वयन के पक्ष में है और वह इसके लिए केंद्र सरकार से संपर्क करेगी। रिपोर्ट्स के अनुसार, NEDA सम्मेलन के समापन के मौके पर उन्होंने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि NRC के लिए राज्य ने पहले ही एक प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। उन्होंने कहा- “हमें और उत्तर पूर्व के कई राज्यों को NRC की आवश्यकता है। मणिपुर सरकार ने पहले ही कैबिनेट में NRC के लिए फैसला कर लिया है।”

केंद्र सरकार का नजरिया पूरी तरह से साफ है कि अवैध घुसपैठियों के लिए भारत में कोई जगह नहीं है। खुद, गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार सितंबर 09, 2019 को NEDA की चौथी बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि केन्द्र की मंशा सिर्फ असम से ही नहीं बल्कि पूरे देश से सभी घुसपैठिये को बाहर निकालने की है।

बिरेन सिंह ने NEDA सम्मेलन के बाद संवाददाताओं से कहा कि राज्य ने पहले ही प्रदेश में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के लिए एक प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।

यह पूछे जाने पर कि राज्य इस योजना को लागू कैसे करेगा, तो उन्होंने कहा- “यह केंद्र सरकार के माध्यम से किया जाएगा। असम यह उच्चतम न्यायालय की निगरानी में कर रहा है। इसलिए हम केंद्र सरकार से इसे करने के लिए अनुरोध कर रहे हैं।”

Special coverage by OpIndia on Ram Mandir in Ayodhya

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

इंदिरा गाँधी की 100% प्रॉपर्टी अपने बच्चों को दिलवाने के लिए राजीव गाँधी सरकार ने खत्म करवाया था ‘विरासत कर’… वरना सरकारी खजाने में...

विरासत कर देश में तीन दशकों तक था... मगर जब इंदिरा गाँधी की संपत्ति का हिस्सा बँटने की बारी आई तो इसे राजीव गाँधी सरकार में खत्म कर दिया गया।

जिस जज ने सुनाया ज्ञानवापी में सर्वे करने का फैसला, उन्हें फिर से धमकियाँ आनी शुरू: इस बार विदेशी नंबरों से आ रही कॉल,...

ज्ञानवापी पर फैसला देने वाले जज को कुछ समय से विदेशों से कॉलें आ रही हैं। उन्होंने इस संबंध में एसएसपी को पत्र लिखकर कंप्लेन की है।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -

हमसे जुड़ें

295,307FansLike
282,677FollowersFollow
417,000SubscribersSubscribe