Sunday, April 20, 2025
Homeविविध विषयभारत की बातमिसाइलमैन के जन्म दिवस को 'राष्ट्रीय छात्र दिवस' घोषित करने की माँग

मिसाइलमैन के जन्म दिवस को ‘राष्ट्रीय छात्र दिवस’ घोषित करने की माँग

वर्ष 2002 में डॉ एपीजे अब्दुल कलाम ने देश के 11वें राष्ट्रपति के रूप में पदभार संभाला था। देश उन्हें ‘मिसाइल मैन’ के नाम से भी याद करता है। भारत को मिसाइल तकनीक में आत्मनिर्भर बनाने के पीछे उनका ही दिमाग था।

बीजेपी नेता और पूर्व राज्यसभा सांसद आनंद भास्कर रापोलू ने पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम के जन्म दिवस यानी 15 अक्टूबर को ‘राष्ट्रीय छात्र दिवस’ घोषित करने की माँग की है। उन्होंने मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक को चिट्ठी लिखी है।

बीजेपी नेता रापोलू ने लिखा, “देश के युवाओं को इनोवेशन के रास्ते पर आगे बढ़ाने के लिए हमारी पार्टी ने डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम को राष्ट्रपति बनाने का एक महत्वपूर्ण फैसला लिया था। मैंने इस मुद्दे को पूर्व एचआरडी मिनिस्ट्री के सामने भी उठाया था।” इसके अलावा उन्होंने दिल्ली के औरंगजेब रोड का भी ज़िक्र किया, इस रोड का नाम बदलकर डॉ एपीजे अब्दुल कलाम रख दिया गया है।

अपनी चिट्ठी में उन्होंने इस बात पर भी ज़ोर दिया कि बीजेपी ने भारत के राष्ट्रपति के रूप में डॉ एपीजे अब्दुल कलाम को चुनने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और केंद्र सरकार ने भी उनके साथ राष्ट्रीय राजधानी में एक महत्वपूर्ण सड़क का नाम देकर उनकी स्मृति को याद किया। उन्होंने मानव संसाधन विकास मंत्री से आग्रह किया कि वे इस दिन को उसी उत्साह के साथ मनाएँ, जिस तरह पूरा देश 21 जून को ‘विश्व योग दिवस’ और 7 अगस्त को ‘राष्ट्रीय हथकरघा दिवस’ के रूप में मनाता है। जिस दिन डॉ एपीजे अब्दुल कलाम का निधन हुआ, देश के कई विश्वविद्यालय और संस्थान 15 अक्टूबर को अपने तरीके से मनाते हैं।

वर्ष 2002 में डॉ एपीजे अब्दुल कलाम ने देश के 11वें राष्ट्रपति के रूप में पदभार संभाला था। देश उन्हें ‘मिसाइल मैन’ के नाम से भी याद करता है। भारत को मिसाइल तकनीक में आत्मनिर्भर बनाने के पीछे उनका बहुत बड़ा योगदान था।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

बलात्कारियों से सहानुभूति और रेप पीड़िताओं को दोषी ठहराने की प्रवृत्ति: भारत की अदालतें खोज रहीं नए-नए तरीके, अपराधियों की जमानत के कई खतरे

न्यायपालिका जब पीड़ितों को उनके मित्रों से मिलने या 'पर्याप्त' प्रतिरोध नहीं करने के लिए दोषी ठहराती हैं तो स्थिति और भी खराब हो जाती है।

‘इस बर्बर घटना से हम व्यथित, खुलेआम घूम रहे अपराधी’: भारत ने हिंदू नेता की हत्या पर बांग्लादेश को फटकारा, कहा – ये चिंताजनक...

"यह घटना एक बड़े और चिंताजनक पैटर्न का हिस्सा है, जहाँ मोहम्मद यूनुस के शासनकाल में हिंदू अल्पसंख्यकों को लगातार निशाना बनाया जा रहा है।"
- विज्ञापन -