Saturday, July 5, 2025
Homeदेश-समाजभोपाल के 'मुस्लिम गैंग' पर पुलिस ने लगाई 250 पन्नों की चार्जशीट, बताया- कॉलेज...

भोपाल के ‘मुस्लिम गैंग’ पर पुलिस ने लगाई 250 पन्नों की चार्जशीट, बताया- कॉलेज की लड़की के साथ उसकी बहन का भी किया था रेप: हामिद, फरहान, साहिल समेत बाकी हो चुके गिरफ्तार

फरहान और साहिल दोनों बारी-बारी से आए दिन कॉलेज छात्राओँ से दुष्कर्म करते थे। इस गिरोह के लोग कॉलेज की छात्राओं को निशाना बनाते और उनका शोषण करते थे।

भोपाल ‘लव जिहाद’ केस में पुलिस ने पॉक्सो एक्ट के तहत भोपाल की विशेष अदालत में 250 पन्नों का चालान (चार्जशीट) दाखिल कर दिया है। यह चालान गुरुवार (12 जून 2025) को जिला न्यायालय में जज नीलम मिश्रा की कोर्ट में पेश किया गया। इस केस में मुख्य आरोपित फरहान खान और उसका साथी साहिल खान हैं। पुलिस ने 57 गवाहों की सूची के साथ यह चालान तैयार किया है।

कोर्ट को दिए गए चालान के साथ पीड़िताओं की मेडिकल रिपोर्ट और महत्वपूर्ण दस्तावेज भी पेश किए गए हैं।

क्या है मामला?

यह घटनाक्रम भोपाल के पिपलानी थाना क्षेत्र के कोकता इलाके में हुई। यहाँ एक निजी कॉलेज की छात्राओं को दोस्ती का झाँसा देकर फँसाया गया। आरोपितों ने पहले लड़कियों को अपने प्रेम जाल में उलझाया, फिर उनके साथ जबरदस्ती शारीरिक संबंध बनाए। इतना ही नहीं, उन्होंने पीड़िताओं पर धर्म बदलने का दबाव डाला और हिंदू धर्म के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणियाँ कीं।

पुलिस की जाँच के अनुसार, फरहान खान ने पहले एक कॉलेज छात्रा (बड़ी बहन) को अपने दोस्त हामिद के घर ले जाकर उसके साथ बलात्कार किया। इसके बाद साहिल खान ने इस घटना का वीडियो बनाकर लड़की को ब्लैकमेल करना शुरू किया। वह उससे बार-बार मिलने के लिए दबाव डालता था। चूँकि लड़की किराए के मकान में रहती थी, इसलिए उसे डर था कि यह बात मकान मालिक या परिवार तक पहुँच जाएगी। इस डर का फायदा उठाकर आरोपित लगातार उसका शोषण करते रहे।

छोटी बहन भी नहीं बची

एक दिन जब बड़ी बहन अपने कमरे पर नहीं थी, तब उसकी छोटी बहन, जो स्कूल में पढ़ती है, वहाँ अकेली थी। आरोपितों ने मौके का फायदा उठाया और नाबालिग लड़की के साथ भी बलात्कार किया।

धर्मपरिवर्तन का डाला दबाव

साहिल ने बड़ी बहन को शादी का लालच देकर उस पर धर्म बदलने का दबाव बनाया। उससे जबरदस्ती मांस खिलाया गया और बुर्का पहनने के लिए मजबूर किया गया। इसके अलावा, पीड़िता के साथ मारपीट भी की गई। उसे लगातार धमकियाँ दी जाती थीं ताकि वह इस बारे में किसी से बात न करे।

और लड़कियाँ भी थीं निशाने पर

पुलिस ने फरहान के फोन की जाँच की तो उसमें आठ अन्य लड़कियों के वीडियो मिले। जब पुलिस ने इन लड़कियों से संपर्क किया, तो पता चला कि ज्यादातर पीड़िताएँ उसी टीआईटी कॉलेज की छात्राएँ थीं। जाँच में खुलासा हुआ कि फरहान और साहिल एक बड़े ‘लव जिहाद’ गिरोह का हिस्सा थे, जिसमें नबील, अली, साद और अबरार जैसे अन्य लोग भी शामिल थे।

पुलिस की चार्जशीट में यह भी खुलासा हुआ है कि फरहान और साहिल दोनों बारी-बारी से आए दिन कॉलेज छात्राओँ से दुष्कर्म करते थे। इस गिरोह के लोग कॉलेज की छात्राओं को निशाना बनाते और उनका शोषण करते थे।

पुलिस ने फरहान और साहिल को गिरफ्तार कर लिया और उन्हें वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश किया। चालान के साथ पीड़िताओं की मेडिकल रिपोर्ट और अन्य जरूरी दस्तावेज भी कोर्ट में जमा किए गए। पुलिस ने मध्यप्रदेश धार्मिक स्वतंत्रता अधिनियम के तहत भी आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की, क्योंकि इस मामले में धर्मांतरण का दबाव डालने का आरोप भी है।

इस मामले में पॉक्सो एक्ट के तहत भी केस चल रहा है। बता दें कि पॉक्सो एक्ट (प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रन फ्रॉम सेक्शुअल ऑफेंसेज एक्ट) बच्चों के खिलाफ यौन अपराधों से बचाने के लिए बनाया गया कानून है। इस मामले में एक नाबालिग लड़की भी पीड़िता है, इसलिए इस कानून के तहत कार्रवाई हो रही है।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

'द वायर' जैसे राष्ट्रवादी विचारधारा के विरोधी वेबसाइट्स को कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

कट्टरपंथी मुस्लिम छात्रों ने रोका हिंदू प्रोफेसर का प्रमोशन, VC ऑफिस में प्रदर्शन कर दिखाई ताकत: विरोध में उतरे सनातनी, बांग्लादेश के चटगाँव यूनिवर्सिटी...

डॉ कुशल चक्रवर्ती के साथ चटगाँव यूनिवर्सिटी में अन्याय हुआ। मुस्लिम छात्रों ने उनका प्रमोशन रोका, देशभर में हिंदू संगठनों ने विरोध जताया।

‘भारत माता’ कैसे हो सकती हैं धार्मिक प्रतीक? : फोटो देख यूनिवर्सिटी प्रोग्राम को कैंसिल करने वाले रजिस्ट्रार से केरल HC ने पूछा सवाल,...

केरल हाईकोर्ट ने सुनवाई के दौरान रजिस्ट्रार से सवाल किया कि ‘भारत माता’ को  धार्मिक प्रतीक कैसे माना जा सकता है।
- विज्ञापन -