Saturday, June 21, 2025
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जब CM थे तब ₹350 करोड़ का घोटाला, अब चंद्रबाबू नायडू गिरफ्तार: बेटा नारा लोकेश भी हिरासत में

आंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम चंद्रबाबू नायडू गिरफ्तार। युवाओं के कौशल का विकास करने के लिए एक योजना शुरू की थी इनकी सरकार ने। आरोप है कि फर्जी कंपनियों को करोड़ों ट्रांसफर किए और दस्तावेज भी नष्ट कर दिए।

आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू को गिरफ्तार (Chandrababu Naidu arrested) किया गया है। उन पर 350 करोड़ रुपए के कौशल विकास घोटाले का आरोप लगाया गया है। उनके बेटे नारा लोकेश को भी हिरासत में लिया गया है। आंध्र प्रदेश की आपराधिक जाँच विभाग (CID) ने यह गिरफ्तारी की है।

चंद्रबाबू नायडू को गिरफ्तार करने आंध्र प्रदेश CID की टीम शनिवार (9 सितंबर 2023) की भोर में 3 बजे नंदयाल जिले पहुँची। इस समय तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के कार्यकर्ताओं ने जबरदस्त हंगामा किया। पूर्व मुख्यमंत्री के सुरक्षा गार्डों ने भी उस समय गिरफ्तारी का विरोध किया। आखिरकार सुबह 6 बजे उन्हें गिरफ्तार किया गया।

तेलुगु देशम पार्टी के अध्यक्ष और आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू के वकील ने बताया कि गिरफ्तारी से पहले उन्हें मेडिकल जाँच के लिए ले जाया गया क्योंकि उन्हें हाई ब्लड प्रेशर और शुगर है। न्यायिक प्रक्रिया को लेकर वकील ने कहा:

“चंद्रबाबू नायडू की जमानत के लिए हम उच्च न्यायालय जा रहे हैं।”

नंयदाल रेंज के डीआईजी रघुरामी रेड्डी के अनुसार चंद्रबाबू नायडू को एपी स्किल डिवेलपमेंट कॉर्पोरेशन घोटाले (Andhra Pradesh Skill Development Corporation scam) में गिरफ्तार किया गया है। इस घोटाले में वो अभियुक्त नंबर वन हैं।

चंद्रबाबू नायडू नहीं करेंगे कानून का सहयोग?

तेलुगु देशम पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की मानें तो उनके अध्यक्ष को बिना किसी आरोप और बिना किसी सबूत के गिरफ्तार किया गया है। मीडिया रिपोर्ट में यहाँ तक छपा है कि खुद चंद्रबाबू ने भी कहा है कि वो सबूत पेश किए जाने पर ही कानून का सहयोग करेंगे।

क्या है कौशल विकास घोटाला?

आंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम चंद्रबाबू नायडू को कौशल विकास घोटाले में गिरफ्तार किया गया है। इस संबंध में उनके खिलाफ साल 2021 में एफआईआर दर्ज की गई थी। तो आखिर क्या है कौशल विकास घोटाला?

जब आंध्र प्रदेश में चंद्रबाबू नायडू की सरकार थी तो युवाओं के कौशल का विकास करने के लिए एक योजना शुरू की गई थी। इस योजना पर कुल 3300 करोड़ रुपए खर्च होने थे। इसमें राज्य सरकार के बजट के अलावे प्राइवेट कंपनी सीमेंस भी शामिल थी। आरोप है कि घोटाला राज्य सरकार के बजट में किया गया। पूर्व सीएम चंद्रबाबू नायडू पर आरोप है कि उन्होंने फर्जी कंपनियों को पैसे ट्रांसफर किए और दस्तावेज भी नष्ट कर दिए।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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