Saturday, May 4, 2024

विचार

सागरिका हम समझते हैं, कुंठा छिपाने और अपनी किताब बेचने का यह तरीका पुराना है

सागरिका युद्धों के बारे में अपनी जानकारी को थल सेना के एक अधिकारी से ज्यादा सिद्ध करने की मूर्खतापूर्ण कोशिश में लगी रही। ये अलग बात है कि युद्धों का उनका कुल अनुभव शून्य ही होगा। हाँ, उनके पति महोदय का न्यूयॉर्क में कुछ नागरिकों से हाथापाई का अनुभव जरूर है।

आतंकियों को कुत्ते की मौत मारने के दस फायदे, छठा आपको 72 हूरों के पास भेज देगा

सुरक्षाबलों ने आतंकियों को कुत्ते की मौत दे दी। अब, जबकि वो मार गिराए गए हैं और भारत सरकार की नई जीरो टॉलरेंस नीति के हिसाब से साल के दो सौ आतंकी निपटाए जा रहे हैं, तो इससे कई सकारात्मक बातें सामने आती हैं........

जातिवाद और साम्प्रदायिकता ही कम्युनिस्टों का ‘बाज़ार’ है, वो इसे भला खत्म क्यों होने देंगे?

जातिवाद खत्म करने वाली आर्थिक ताकत मुक्त बाज़ार के कम्युनिस्ट दुश्मन हैं। सड़कें न बनने देने वाले, स्कूलों में बम लगा देने वाले माओवादियों के पैरोकार हैं।

कहब त लग जाइ धक से, औरतन पर समाजवदियन के बोल बहके फक्क से

समस्या केवल नेताओं के बहके बोल ही नहीं है। बचाव में गढ़े जाने वाले तर्क बताते हैं कि इस पार्टी के लिए कामुक टिप्पणियॉं कितनी आम बात है। पार्टी आलाकमान के घर की पढ़ी-लिखी सांसद रह चुकी बहू महिला के अंडरवियर का रंग बताए जाने को ‘छोटी सी बात’ बताती हैं।

अकबरुद्दीन ओवैसी, दर्द उठा है तो अलीगढ़ के हकीम के पास जाओ, ये 2019 है

हर कुत्ते को भौंकने के लिए एक भागती हुई कार चाहिए। आरएसएस वही भागती हुई, चमचमाती कार है जिसे देख कर ये भौंकते हैं क्योंकि इनका एक भी संगठन इस तरह का नहीं बन पाया जो कि अपनी राष्ट्रवादी विचारधारा को सत्ता तक पहुँचा दे।

पवन वर्मा जी, टीवी सीरियल से धर्म सीखने वाले आपकी तरह मूर्खतापूर्ण बातें ही करते हैं

पवन वर्मा जैसे पढ़े-लिखों ने राम को 'कैलेंडर-आर्ट' में तब्दील किया, और फिर टीवी पर डालडा की तरह नीरस किरदार के रूप में विकृत छवि का जमकर प्रचार किया।

मैं सिर्फ एक गाँव का CM हूँ… पूरे राज्य का मुख्यमंत्री बनने में बहुत खर्चा हो जाएगा!

"मैं इस गाँव के लोगों के प्रति आभारी हूँ। मैं ऐलान करता हूँ कि गाँव चिंतमडाका के प्रत्येक परिवार को सरकार की तरफ से ₹10 लाख दिए जाएँगे। इस राशि से वो कुछ भी खरीद सकते हैं।"

मोदी जी, एक हिन्दू को आपकी बजाय ट्रम्प से मदद की गुहार क्यों करनी पड़ रही है?

हम 'हिन्दू होमलैंड' इज़राइल की तर्ज पर बना सकते हैं, जहाँ हर नागरिक के अधिकार समान होंगे, लेकिन प्रताड़ित हिन्दुओं के लिए हिंदुस्तान 'होमलैंड' दे सकता है।

चल काँवड़िया शिव के धाम, राह में पत्थरबाजी करेंगे ‘शांतिप्रिय’ इंसान

शिवभक्त काँवड़िया जब इन इलाकों से गुजरता है तो पत्थरबाजी और मार-पीट की खबरें कैसे आती हैं? क्या इसके उलट आपने कहीं सुना है कि ईद की नमाज पढ़ते, या ईद तो छोड़िए हर शुक्रवार सड़क घेर कर देश के कई इलाके में नमाज पढ़ते शांतिप्रिय पर किसी ने आवाज भी उठाई हो?

मिथिला पेंटिंग – परंपरा Vs आधुनिकता: जो पसंद नहीं आएगा वो समय के साथ ख़त्म हो जाएगा

दलित हरिजन महिलाओं के लिए मिथिला का समाज बहुत रुढ़िवादी रहा है। लेकिन कागज पर पेंटिंग बना कर बेचने का मौका जब इन्हें मिलने लगा, तो एक नया द्वार खुल गया। लेकिन फिर शुद्धतावादियों और आधुनिकतावादियों में चर्चा शुरू हो गई। कुछ लोग लोक कला से पौराणिक कथाओं का जाना परंपरा का नष्ट होना बताते हैं, वहीं कुछ लोग...

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