Tuesday, March 4, 2025
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ट्रेन के फर्स्ट AC से जा रहे थे जज साहब, ट्रेन हो गई लेट… पैंट्री कार वाले नहीं आए देखने… लॉर्डशीप की तकलीफ पर रेलवे को चिट्ठी

जज साहब फर्स्ट AC कोच में यात्रा कर रहे थे। ट्रेन 3 घंटे लेट थी। TTE आया नहीं। GRP स्टाफ था नहीं। पैंट्री वालों ने खाने-पीने का सामान नहीं दिया... अब इस बवाल पर रेलवे को हाईकोर्ट की ओर से चिट्ठी गई है।

एक जज साहब ट्रेन से जा रहे थे।
रास्ते में ट्रेन लेट हो गई।
ट्रेन में जज साहब को थोड़ी दिक्कत-परेशानी हुई।
जज साहब जिला के नहीं थे, हाई कोर्ट के थे।
बवाल मच गया। चिट्ठी-पत्री कर दी गई।

यह सिनेमा की स्क्रिप्ट नहीं बल्कि खबर है। खबर अपने देश की।

इलाहाबाद हाईकोर्ट के जस्टिस गौतम चौधरी को ट्रेन यात्रा के दौरान असुविधा हुई। हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार ने इस असुविधा के लिए दोषी अधिकारियों से स्पष्टीकरण माँगा है। यह यात्रा 8 जुलाई 2023 (शनिवार) को नई दिल्ली से प्रयागराज के बीच पुरुषोत्तम एक्सप्रेस में की गई थी।

हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार के लिखे लेटर के अनुसार इस दिन ट्रेन 3 घंटे लेट थी। लेटर में बताया गया कि न्यायाधीश द्वारा बार-बार बुलाए जाने के बावजूद TTE सहित किसी भी रेलकर्मी द्वारा कोई संतोषजनक जवाब नहीं दिया गया था। शुक्रवार (14 जुलाई 2023) को जारी इस नोटिस में GRP स्टाफ और पैंट्री कार मैनेजर से स्पष्टीकरण माँगा गया है।

जस्टिस चौधरी ने ट्रेन नंबर 12802 (पुरुषोत्तम एक्सप्रेस) के फर्स्ट AC कोच में यात्रा की थी। नोटिस में यात्रा के दिन ट्रेन 3 घंटे लेट बताते हुए आरोप लगाया गया है कि न्यायाधीश के कोच में कोई भी GRP स्टाफ मौजूद नहीं था। इसी के साथ ट्रेन में अटैच पैंट्री कार वालों को भी कई बार फोन करने के बावजूद कोई भी स्टाफ जस्टिस गौतम चौधरी को खाने-पीने का सामान देने के लिए नहीं आया।

यह नोटिस उत्तर मध्य रेलवे के महाप्रबंधक कार्यालय को इलाहाबाद हाईकोर्ट के प्रोटोकॉल रजिस्ट्रार आशीष श्रीवास्तव द्वारा जारी की गई है। नोटिस के विषय में न्यायाधीश को हुई असुविधा को बताया गया है।

आरोप है कि इस पैंट्री कार के मैनेजर के तौर पर कार्यरत राज त्रिपाठी द्वारा भी न्यायाधीश का फोन नहीं उठाया गया। नोटिस के मुताबिक GRP और पैंट्री कार के स्टाफ की इस हरकत से न्यायाधीश को सफर के दौरान काफी असुविधा का सामना करना पड़ा।

बताया गया है कि इस घटना से जस्टिस चौधरी खुश नहीं हैं। उन्होंने इस हरकत के दोषियों से स्पष्टीकरण माँगा है। हाईकोर्ट रजिस्ट्रार ने रेलवे के उच्च अधिकारीयों को यह भी निर्देश दिया है कि वो GRP और पैंट्री कार स्टाफ द्वारा दिए गए जवाब की कॉपी कोर्ट में भी प्रस्तुत करें।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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