शांति अभियानों का हिस्सा रही हैं सोफिया कुरैशी
प्रेस ब्रीफिंग करने वाली इन दो अधिकारियों में एक हैं कर्नल सोफिया कुरैशी। 17 साल की उम्र में अपने सपने को पूरा करने के लिए उन्होने इंडियन आर्मी ज्वॉइन की। सोफिया का जन्म गुजरात के वड़ोदरा में 1981 में हुआ। वो शॉर्ट सर्विस कमीशन के तहत 1999 में सेना में शामिल हुईं। सोफिया का आर्मी बैकग्राउंड है। उनके दादा आर्मी में थे। सोफिया के पति आर्मी अधिकारी हैं ।
सोफिया सेना के शांति स्थापना अभियानों से जुड़ी रही हैं। उन्होने पंजाब बॉर्डर पर चले ऑपरेशन पराक्रम और उत्तर पूर्व के बाढ़ राहत कार्यों में उत्कृष्ट योगदान दिया। उनके कार्यों की सराहना की गई। इसके अलावा 18 देशों को मिलाकर पुणे में एक्सरसाइज फोर्स 18 का आयोजन किया गया था। इसमें आसियान देश भी शामिल थे। इस अभियान के 40 अधिकारियों में एकमात्र सोफिया कुरैशी महिला अधिकारी थीं।
व्योमिका की आकांक्षाओं को उड़ान दी वायु सेना ने
अब बात करते हैं विंग कमांडर व्योमिका सिंह की। व्योमिका यानी आकाश से जुड़ा। वायुसेना की अधिकारी व्योमिका बचपन से ही उड़ना चाहती थीं। उनके नाम ने उनकी आकांक्षाओं को और ज्यादा मजबूत किया। उन्होने एससीसी से सफर की शुरुआत की और इंजीनियरिंग करके सेना में शामिल हो गईं। सेना में शामिल होने वाली व्योमिका अपने परिवार की पहली सदस्य हैं। भारतीय वायु सेना में एक हेलीकॉप्टर पायलट के रूप में कमीशन दिया गया और 2019 में फ्लाइंग ब्रांच में स्थायी कमीशन प्राप्त हुआ। उन्होंने जम्मू कश्मीर और पूर्वोत्तर सहित कुछ सबसे कठिन इलाकों में चेतक और चीता जैसे हेलीकॉप्टरों का संचालन किया।
व्योमिका सिंह कई बचाव अभियान का भी हिस्सा रही हैं। 2021 में वह माउंट मणिरंग पर तीनों सेनाओं की महिला पर्वतारोहण अभियान का हिस्सा रहीं। इस अभियान से उन्हें काफी प्रसिद्धि मिली।