खुफिया सूत्रों ने बताया है कि आतंकियों के निशाने पर काबुल स्थित भारतीय दूतावास था। लेकिन, वहॉं सुरक्षा बेहद सख्त होने के कारण वे अपने मकसद में कामयाब नहीं हो पाए और गुरुद्वारे पर हमला कर दिया।
गुलाम फई कश्मीर में पैदा हुआ। 1980 में राष्ट्र विरोधी गतिविधियों में शामिल रहा। इसके बाद कश्मीर से भागकर सऊदी अरब चला गया। फिर किंग फैसल फाउंडेशन के जरिए वो अमेरिका चला गया। अब भारत विरोधी प्रोपेगेंडा में फई इतना बड़ा नाम है कि पाकिस्तान से 4 मिलियन डॉलर लेकर...
तीनों छात्रों के नाम आमिर, बासित और तालिब हैं। वीडियो में बैकग्राउंड में गाना बज रहा है- "खाई है ये कसम, खाई है ये कसम, सुन ले दुश्मन सभी, है ये दिल की सदा.. पाकिस्तान जिंदाबाद, पाकिस्तान जिंदाबाद।" वीडियो के बीच में एक छात्र आजादी के नारे भी लगाते हुए सुना जा सकता है।
मीडिया के लोग आतंकवादियों के एक 'आम आदमी' से आतंकवादी बनने की घटना का बेहद फ़िल्मी तरीके से महिमामंडन करते नजर आते हैं। आतंकवादियों से अलग यह अपना एक अलग किस्म का बौद्धिक जिहाद चला रहे होते हैं, जिनका पहला संघर्ष सामान्य विवेक और तर्क क्षमता से नजर आता है।
मेहता अपनी किताब में लिखते हैं कि 'मिशन कश्मीर' के लिए स्क्रिप्ट लिखते समय विधु विनोद चोपड़ा समुदाय विशेष की भावनाओं का ख्याल रखने और 'पोलिटिकली करेक्ट' बने रहने पर खासा जोर देते थे। चोपड़ा का मानना है कि भारत सरकार ने कश्मीर में 'रंग में भंग' डाला।
सुबह ही पुलिस ने स्पष्ट किया था कि प्रतिबंधित कट्टरपंथी संगठन जेकेएलएफ से सम्बंधित संगठनों ने घाटी में आने वाले दिनों में हिंसा की घोषणा करते हुए पर्चे बाँटे हैं और वे एक गैरकानूनी संगठन के संदेशों और गतिविधियों का प्रचार कर रहे हैं। शाम होते-होते...
अफजल गुरू की फाँसी की बरसी के चलते घाटी में जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (JKLF) ने बंद का एलान किया है। यह बंद 9 फरवरी और 11 फरवरी को बुलाया गया है। 11 फरवरी को नेशनल लिबरेशन फ्रंट के संस्थापक मकबूल भट्ट की भी बरसी है, जिसके चलते...
"प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कल ही संसद में उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती के बारे में टिप्पणी की और रात में उन पर पब्लिक सेफ्टी एक्ट (PSA) लगा दिया गया। आप कश्मीर पर इस तरह राज नहीं कर सकते हैं। कश्मीर भौगोलिक तौर पर तो हमारा है लेकिन भावनात्मक रूप से नहीं।"
तब भी ऐसा ही मजहबी उन्माद था। इसी तरह के नारे और ऐसी ही साजिशें थी। उस समय इसकी आग में कश्मीर के हिंदू जले थे। आज नहीं चेते तो अगला नंबर आपका हो सकता है।