Sunday, September 1, 2024
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‘UP में RSS के कट्टरपंथियों की हरकत देखिए…’ मथुरा पुलिस ने किया ‘गिरोह’ के हिन्दू विरोधी एजेंडे को बेनकाब

मथुरा पुलिस ने इस मामले का पूरा खंडन करते हुए कहा है कि मामले को बेवजह सांप्रदायिक रंग देकर माहौल बिगाड़ने तथा आरएसएस और हिन्दुओं को बदनाम करने की कोशिश की जा रही है जबकि असल मामला फैलाई जा रही फेक न्यूज़ से बहुत अलग है।

हिन्दुओं के खिलाफ घृणा फ़ैलाने वालों ने एक बार फिर ज़हर उगला था मगर पुलिस की सूझबूझ ने इसके चलते माहौल बिगड़ने से पहले ही रोक लिया, @Notmukerji नामक ट्विटर एकाउंट से एक वीडियो शेयर किया गया जिसके साथ हिन्दुओं पर आरोप मढ़ते हुए लिखा गया-

“यूपी में आरएसएस के हिन्दू कट्टरपंथियों की हरकत देखिए, एक इसाई दंपत्ति को अपनी ज़मीन पर अवैध कब्ज़ा करने का विरोध करने पर जिंदा जला दिया गया, उनका बेटा वहीं पड़ा बिलखता रहा। यह कितनी भयावह घटना है। दुनिया ने तो जैसे भारत में हो रहे इस अत्याचार पर आँख ही मूँद ली है।”

इतना पोस्ट होते ही यह ट्वीट वायरल हो गया, करीब 5500 रीट्वीट के साथ इसने बहुत लोगों का ध्यान खींचा मगर हिन्दुओं के खिलाफ नफरत फैलाने वालों की बुरी किस्मत थी क्योंकि उनका यह एजेंडा ज्यादा चल नहीं सका, मथुरा पुलिस ने इस वायरल होते ट्वीट पर संज्ञान लेते हुए इसकी सच्चाई खंगाल निकाल कर सामने रख दी और बताया कि यह पूरी तरह से एक फेक न्यूज़ है जिसे सिर्फ माहौल बिगाड़ने के उद्देश्य से फैलाया जा रहा है.

मथुरा पुलिस ने पूरे मामले की छानबीन करने के बाद फेक न्यूज़ का खंडन करते हुए फैलाए जा रहे वीडियो से सम्बंधित घटना के बारे में अपने ट्वीट में बताया कि वीडियो दरअसल 28 अगस्त 2019 की एक घटना से सम्बंधित है जिसमें दंपत्ति नगर के एक नामी-गिरामी व्यक्ति द्वारा घर पर कब्ज़ा करने और धमकी दिए जाने से परेशान थे और थक हार-कर उन्होंने थाने के सामने आत्मदाह करने की कोशिश की थी।(हालाँकि बाद में दोनों को आग से बचाकर पुलिस उन्हें अस्पताल ले गई जहाँ उनका उपचार हो सके)

मथुरा पुलिस ने इस मामले का पूरा खंडन करते हुए कहा है कि मामले को बेवजह सांप्रदायिक रंग देकर माहौल बिगाड़ने तथा आरएसएस और हिन्दुओं को बदनाम करने की कोशिश की जा रही है जबकि असल मामला फैलाई जा रही फेक न्यूज़ से बहुत अलग है।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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